Friday, June 27

कांग्रेस की अनदेखी का शिकार रमनजीत लाली ग्रुप कांग्रेस से अल्ग होकर लड़ेगा विधानसभा उतरी से आजाद चुनाव

  • लाली बोले, कांग्रेस से कोई बैर नहीं, चुनाव मैदान में विधायक पांडे की खैर नहीं
  • हल्का उतरी में 40 प्रतिशत आबादी दलित समाज की, एकजुटता के साथ लाली के लिए सीट जीतना नहीं मुश्किल

 लुधियाना (विशाल, अरुण जैन)- पिछले पांच वर्षो से कांग्रेस पार्टी की अनदेखी का शिकार रमनजीत लाली ग्रुप व उनके हजारों सर्मथको ने कांग्रेस को अलविदा कह कर दलित बहुगिनती विधानसभा उतरी से आजाद उम्मीदवार के तौर पर रमनजीत लाली को चुनाव मैदान में उतारने की घोषणा की। जिसके लिए समाज की बैठकों का दौर जारी है। आज भारी संख्या में लाली सर्मथकों की हुई बैठक को संबोधित करते हुए रमनजीत लाली ने लुधियाना में रविदास समाज को नजरअंदाज करने के आरोप लगाते हुए कहा कि सिद्धू मूसेवाला व मालविका सूद जैसे उच्च जाति से संबधित लोगो को पार्टी में शामिल करके तुरन्त उच्च पद दिए जा रहे हैं। दूसरी तरफ उनके (लाली)सहित 6 लोग जिन्होने पूर्व समय में बसपा के टिकट पर एम.एल.ए का चुनाव लड़ा व वर्ष-2016 में कांग्रेस में शामिल हुए उन्हें आज तक न तो सरकार में कोई पद मिला और न ही कांग्रेस पार्टी में कोई पद । जबकि इन लोगो ने वर्ष-2017 के चुनाव में अल्ग-अल्ग विधानसभा क्षेत्रों में कांग्रेस उम्मीदवारों की जीत के लिए तनदेही से कार्य किया। लाली ने बताया कि उन्होने पार्टी की तरफ से आवेदन परक्रिया शुरु करने पर लुधियाना के उतरी व गिल विधानसभा से विधायक टिकट के लिए आवेदन किया था। मगर पार्टी नेतृत्व ने टिकट मांगने के बाद उनका पक्ष नहीं सुना। वर्ष-2018 में कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय प्रधान राहुल गांधी ने भी उस समय के पंजाब प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ को फोन करके लाली ग्रुप को सम्मानजनक पद पर एडजस्ट करने के लिए कहा, मगर राहुल गांधी के फोन का भी प्रदेश लीडरशिप कोई असर नहीं हुआ। इसी तरह लुधियाना में निर्माणाधीन डा.अंबेदकर भवन में 16 दिसम्बर को पंहुचे पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी की मौजूदगी में दलित समाज का पक्ष रखने का मौका स्थानीय विधायक ने साजिश के तहत उन्हें नहीं दिया। कांग्रेस पार्टी में मान -सम्मान न मिलने से दुखी लाली ने सर्मथकों सहित कांग्रेस से अल्ग होने का मन बना लिया है। दलित बहुगिनती वाली विधानसभा उतरी सीट पर आजाद उम्मीदवार जीतना उनके लिए कोई बड़ी बात नहीं है। वहीं लाली ग्रुप के कांग्रेस से अलग होने से लुधियाना की चार विधानसभा सीटों पर कांग्रेस को नुक्सान होगा। इस अवसर पर गुरु रविदास सभाओं, वाल्मीकि सभाओ,डा.अंबेदकर सभाओ, समूह कलाकार भाईचारा सहित अनेक सामाजिक, धार्मिक व व्यापारिक संगठनो के प्रतिनिधि भी उपस्थित रहे। 

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